Sufinama

अस्सलाम ऐ फ़ख़्र-ए-इंसाँ अस्सलाम

ग़ुलाम मोईनुद्दीन गिलानी

अस्सलाम ऐ फ़ख़्र-ए-इंसाँ अस्सलाम

ग़ुलाम मोईनुद्दीन गिलानी

MORE BYग़ुलाम मोईनुद्दीन गिलानी

    अस्सलाम फ़ख़्र-ए-इंसाँ अस्सलाम

    नाज़िश-ए-नाज़-ए-रसूलाँ अस्सलाम

    सरापा शर्ह-ए-क़ुरआँ अस्सलाम

    अस्सलाम 'ऐन-ए-ईमाँ अस्सलाम

    याद-ए-तू बस राहत-ए-जाँ अस्सलाम

    दर्द-ए-तू ख़ुद ’ऐन-ए-दर्माँ अस्सलाम

    अस्सलाम चारा-ए-बे-चारगाँ

    सुकून-ए-दर्द-मनदाँ अस्सलाम

    ज़िक्र तो बस मूनिस-ओ-ग़म-ख़्वार-ए-मा

    हुब्ब-ए-तु बुनियाद-ए-ईमाँ अस्सलाम

    कि दर्द-ए-ला-दवा रा तू दवा

    चारः-साज़-ए-मा ग़रीबाँ अस्सलाम

    रहमत-ए-'आलम शफ़ी'-ए-’आसियाँ

    दस्त-ए-उम्मत रा निगहबाँ अस्सलाम

    जल्वः-फ़र्मा दर शब-ए-रूया मा

    दवा-ए-दर्द-ए-हिज्राँ अस्सलाम

    ख़्वाब रा तू ख़्वाब-ए-शीरीं कर्द:-ई

    जमाल-ए-रू-ए-ताबाँ अस्सलाम

    मकीन गुंबद-ए-ख़ज़्रा मदद

    ब-शिनो अज़ मन आह-ओ-फ़ुग़ाँ अस्सलाम

    अस्सलाम सरवर-ए-कौन-ओ-मकाँ

    अस्सलाम रहमत-ए-हर दो जहाँ

    ’आसियाँ वाबस्तः-ए-दामान-ए-तू

    पनाह-ए-मा ग़रीबाँ अस्सलाम

    कुन नज़र या रहमतुल-लिल-'आलमीं

    सदक़ा-ए-शाह-ए-शहीदाँ अस्सलाम

    हाल-ए-ज़ार-ए-उम्मत-ए-’आसी ब-बीं

    सरापा लुत्फ़-ओ-एहसाँ अस्सलाम

    ज़हे-क़िस्मत कि तू बर मा हरीस

    जाना-ए-'आरिफ़ दर तू क़ुर्बां अस्सलाम

    अस्सलाम रहमतुल-लिल-'आलमीं

    अस्सलाम नूर-ए-रब्बुलल-'आलमीं

    अस्सलाम आफ़ताब-ए-लम-यज़ल

    अस्सलाम माहताब-ए-बे-बदल

    अस्सलाम इफ़्तिख़ार-ए-दो जहाँ

    अस्सलाम ’इज़्ज़त-ए-कौन-ओ-मकाँ

    अस्सलाम ज़ीनत-ए-'अर्श-ए-बरीं

    अस्सलाम रौनक़-ए-फ़र्श-ए-ज़मीं

    अस्सलाम मज़हर-ए-अनवार-ए-हक़

    अस्सलाम मज़हर-ए-असरार-ए-हक़

    लुत्फ़ ने तेरे बुलाया है यहाँ

    वर्ना अपनी ऐसी थी क़िस्मत कहाँ

    क्या ही ख़ुश अय्याम ये अय्याम हैं

    आप के दर पर जो सुब्ह-ओ-शाम हैं

    बा-अदब हो कर तिरे दरबार में

    'अर्ज़ करते हैं तिरी सरकार में

    अस्सलातो--वस्सलाम की सदा

    और कभी सल्ले-'अला सल्ले-'अला

    फिर तिरे सिद्दीक़-ए-अकबर पर सलाम

    हज़रत-ए-फ़ारूक़ पर फिर सद सलाम

    अस्सलाम यार-ए-ग़ार-ए-मुस्तफ़ा

    अस्सलाम राज़-दार-ए-मुस्तफ़ा

    अस्सलाम मर्कज़-ए-परकार-ए-'इश्क़

    अस्सलाम क़ाफ़िला-सालार-ए-'इश्क़

    अस्सलाम 'उमर बर गर्दूं रिकाब

    अस्सलाम अफ़ज़ल-ए-इब्न-ए-ख़ताब

    अस्सलाम शौकत-ए-इस्लाम-ओ-दीं

    अस्सलाम सतवत-ए-शर्ह-ए-मुबींं

    अस्सलाम सय्यदा ज़हरा बतूल

    अस्सलाम क़ुर्रत-ए-'ऐन-ए-रसूल

    अस्सलाम फ़र्ह-ए-क़ल्ब नूर-ए-’ऐन

    अस्सलाम मादर-ए-हसन-ओ-हुसैन

    या मोहम्मद आसरा है आप का

    और कोई भी नहीं तिरे सिवा

    चूमना क़दमों का तेरे हबीब

    फिर भी हो जाए ग़रीबों को नसीब

    अपने दर पर फिर हमें बुलवाइए

    सब्ज़-ए-गुम्बद फिर हमें दिखलाइए

    आना जाना हो तेरे दरबार में

    'अर्ज़ हम करते रहें सरकार में

    फिर दिखाना रू-ए-ज़ेबा या नबी

    फिर मेरे आ'माल धुल जाएँ सभी

    है तरह फ़रमान अत्तालेह-ली

    'आसियों का आसरा है बस यही

    रह्म कर रह्म करीम-ए-बे-कसाँ

    आप ही हैं पर्दा-पोश-ए-’आसियाँ

    गो बुरे हैं या भले जैसे हैं हम

    सग तिरे ही दर के कहलाते हैं हम

    पेश-ए-हक़ बा-नाज़-ए-महबूबी ब-गो

    नामः-ए-’इस्यान-ए-ईं 'आसी ब-गो

    किस ज़बाँ से अलविदा' का नाम लूँ

    अलविदा' के बा'द फिर सदमे सहूँ

    अल-फ़िराक़ अल-फ़िराक़ अल-फ़िराक़

    अल-फ़िराक़ अल-फ़िराक़ अल-फ़िराक़

    अलविदा' आराम-गाह-ए-मुस्तफ़ा

    अलविदा' बारगाह-ए-मुस्तफ़ा

    अलविदा' हाकिम-ए-रूह-ए-अमीं

    अलविदा' सब्ज़-ए-गुम्बद के मकीं

    अलविदा' रश्क-ए-ज़मुर्रद अलविदा'

    अलविदा' सब्ज़-ए-गुम्बद अलविदा'

    नूर से मा'मूर जाली अलविदा'

    शान है तेरी निराली अलविदा'

    अलविदा' सिद्दीक़-ए-अकबर अलविदा'

    अलविदा' फ़ारूक़-ए-आ'ज़म अलविदा'

    अलविदा' क़स्र-ए-अहमद अलविदा'

    अलविदा' मेहराब-ओ-मिम्बर अलविदा'

    अलविदा' बाब-ए-रहमत अलविदा'

    अलविदा' राह-ए-जन्नत अलविदा'

    अलविदा' ख़ुद्दाम-ए-अहमद मुजतबा

    अलविदा' अबवाब-ए-अहमद मुजतबा

    उस्तुन-ए-हन्नाना-ओ-जब्ल-ए-उहुद

    ’आशिक़ान-ए-ख़ाक-ए-महबूब-ए-उहुद

    अलविदा' पाक-ए-तैबा अलविदा'

    रहमत-ए-'आलम के ख़ुत्बा अलविदा'

    अब 'इनायत से इजाज़त दीजिए

    और दु'आ हक़ में हमारे दीजिए

    फिर करम की मुझ पे हो जाए निगाह

    फिर तिरा 'मुश्ताक़' हो और तेरी राह

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    हाजी महबूब अ'ली

    हाजी महबूब अ'ली

    स्रोत :
    • पुस्तक : असरार-उल-मुशताक़

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